हनुमान जी ने क्यों चीरा था अपना सीना? जानिए इस कथा का रहस्य

                                                  By Sikha                                                                        PUBLISHED January                                                   20, 2025

भगवान श्रीराम के परम भक्त हनुमान जी को कलयुग का देवता कहा जाता है।

राम भक्त हनुमान

हनुमान जी अपनी अटूट भक्ति, असीम श्रद्धा और निस्वार्थ प्रेम के कारण प्रभु राम के परम भक्त के रूप में पूजे जाते हैं।

बजरंगबली की भक्ति

हनुमान जी की अनेक तस्वीरें देखी होंगी, जिसमें उन्होंने अपना सीना चीर कर श्रीराम एवं माता सीता की छवि दिखाई।

हनुमान जी ने चीरा सीना

हनुमान जी के सीना चीरने के पीछे अनेक पौराणिक मान्यताएं प्रचलित जाती हैं।

हनुमान जी ने चीरा सीना

पौराणिक कथा के अनुसार, श्री राम के राज्याभिषेक के शुभ अवसर पर दरबार में आए हर व्यक्ति को विशेष उपहार भेंट किए गए।

श्रीराम का राज्याभिषेक

राज्याभिषेक के दौरान माता सीता ने हनुमान जी को हीरों से जड़ी एक सुंदर माला दी। हनुमान जी ने उस माला को तोड़ दिया और उसके मोतियों को एक-एक कर फेंकते जा रहे थे।

देवी सीता

क्रोधित लक्ष्मण ने हनुमान जी से पूछा, "आपने माला क्यों तोड़ी?"

लक्ष्मण हुए क्रोधित

हनुमान जी ने लक्ष्मण से कहा, "जिस वस्तु में श्रीराम का नाम ना हो, वह मेरे लिए मूल्यहीन है।"

श्रीराम का नाम

लक्ष्मण जी ने जवाव दिया कि हनुमान आपके शरीर में भी तो श्रीराम का नाम नहीं है, तो इस शरीर को त्याग दो।

शरीर में श्रीराम

पौराणिक कथा के अनुसार, हनुमान जी ने अपने नाखूनों से सीना चीरकर श्रीराम और माता सीता की छवि प्रकट की, जिससे समर्पण और भक्ति का अनोखा उदाहरण प्रस्तुत किया।

बजरंगबली ने चीरा सीना

यह जानकारी सिर्फ मान्यताओं, धर्मग्रंथों और विभिन्न माध्यमों पर आधारित है। किसी भी जानकारी को मानने से पहले विशेषज्ञों से सलाह लें।

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